समस्तीपुर: पुलिस कस्टडी में युवक की बेरहमी से पिटाई, हाथ एवं कमर की हड्डी हुई फ्रैक्चर
पुलिस कस्टडी में युवक की बेरहमी से पिटाई: समस्तीपुर जिलें के दलसिंहसराई थाना क्षेत्र के मगदमपुर गाँव के वार्ड संख्या 04 निवासी अजित कुमार नामक व्यक्ति को पुलिस ने बेरहमी से पिटाई कर उसका हाथ और कमर की हड्डी को फ्रैक्चर कर दिया। इतना ही नहीं उसे अस्पताल में भर्ती करवाने के बदले उसे आधी रात को कोनैला से आगे सड़क पर छोड़ कर चली गई। जब व्यक्ति के परिजन को इसकी जानकारी मिली तो उसे अस्पताल में भर्ती करवाया गया है।
मामला का वजह ये है की मगदमपुर गाँव निवासी अजित कुमार ने अपनी पत्नी गुड़िया देवी को शराब के नशे में किसी बात को लेकर उसके साथ मार पीट कर घर में बंद कर दिया था। जिसके बाद सूचना मिलने पर पहुची दलसिंहसराई पुलिस ने महिला के पति को हिरासत में लेकर थाने ले और और पुलिस कस्टडी मे उसके साथ जमकर मारपीट की गई। जिसके कारण उसके हाथ और कमर की हड्डी फ्रैक्चर हो गई है।
वही घटना के संबंध में पीड़ित अजित कुमार का कहना है की लॉकडाउन के दौरान उसके ससुराल वालों ने उससे 03 लाख रुपए उधर लिए थे। उनसे बार बार पैसे मांगने के बाद भी पैसे नहीं दे रहे थे इसी कारण गुस्सा मे आकर अपनी पत्नी को 2 चार थप्पड़ मारा था। उसके बाद पत्नी और साले ने मिलकर पुलिस में शिकायत किया।
शिकायत करने के बाद पहुची पुलिस ने पहले तो घर पर पिटा फिर थाने ले जाकर हाथ पैर बांध कर पुलिस और साले दोनों ने बेरहमी से पिटा। पुलिस की पिटाई से उसके हाथ और कमर की हड्डी फ्रैक्चर हो गई। इतना होने के बाद पुलिस ने रात के करीब 2 बजे के आसपास गाँव के सड़क पर छोड़ कर चली गई।
जब इसके बारे में अजित के परिवार वालों को पता चला तो उसे अनुमंडलीय अस्पताल में भर्ती करवाया गया। जहा पर प्राथमिक उपचार करने के बाद उसे सदर अस्पताल समस्तीपुर रेफर कर दिया गया। जहा पर पहुचने के बाद वहाँ के चिकित्सक मात्र एक इन्जेक्शन देकर 25 नवंबर से ना तो ठीक से इलाज किया और नाही भर्ती किया।
घटन को लेकर भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने दलसिंहसराई में जमकर प्रदर्शन किया और पुलिस के खिलाफ खूब नारेबाजी किया। उनलोगों ने दलसिंहसराई पुलिस पर सवाल उठाते हुए कहा की अभी तक जितना भी अपराध किया गया है उसके अपराधी को तो पुलिस अभी तक पकड़ नहीं पाई है। लेकिन एक पारिवारिक मामले में शिकायत मिलने पर इस तरह से पीट कर हाथ और कमर की हड्डी तोड़ दी है। इस प्रकार से तो कोर्ट को भी सजा देने का अधिकार नहीं है।
सदर अस्पताल में व्यक्ति की इलाज ना होने पर विभूतिपुर के सीपीएम विधायक ने पीड़ित व्यक्ति से मुलाकात किया एवं अस्पताल की इस कुव्यवस्था पर सवाल उठाते हुए उपाधीक्षक को खूब खड़ी खोटी सुनाया। घटना को लेकर सदन में पुलिसीय जुर्म के खिलाफ सदन में आवाज उठाने की बात भी कहा।